गाय के गोबर को पवित्र माना जाता है. पूजा-पाठ कई प्रकार से गाय के गोबर का इस्तेमाल किया जाता है. ऐसी धार्मिक मान्यता है कि गाय के गोबर में लक्ष्मीजी का निवास है. गाय के गोबर से ही लक्ष्मीजी का स्वरुप ‘गौरजा’ बनाकर पूजन किया जाता है. गाय के गोबर से लक्ष्मीजी सहित अन्य देवी-देवताओं की मूर्तियाँ बनाई जाती हैं. सबसे पहले गोबर को सुखाकर उसका बुरादा तैयार कर लिया जाता है. इसके बाद बाजार में मिलने वाले मूर्तियों के सांचे में लकड़ी का बुरादा, और फ़ेवीकोल के साथ सूखे गोबर के बुरादे को मिलाकार भर दिया जाता है. चार-पांच दिन बाद मूर्ति तैयार हो जाएगी.